जय हिंद!..इन्कलाब जिंदाबाद!अन्ना तुम संघर्ष करो हम तुम्हारे साथ हैं..अन्ना नही ये आंधी है देश के दुसरे गांधी हैं....अन्ना अहा! विरोधी स्वाहा!...अपने जूनून को मै ज्यादा देर रोक नही पाया...और शामिल हो लिया रैली में..देखते देखते सकड़ों कि तादाद में यूनिवर्सिटी के छात्र रैली के समर्थन में परिसर में इकट्ठा हो गए..मै अन्ना हू के स्टीकर चिपकाये हुए..हाथो में स्लोगन लिखे बोर्ड..विरोध प्रदर्शन का सबका अपना अपना तरीका लेकिन मकसद एक..अन्ना के समर्थन में आवाज बुलंद करना.. जगह जगह प्रदर्शन और नारे बाजी की गई..एक कहावत मै अक्सर सुनता हूँ कि कारवाँ बढ़ता गया लोग जुड़ते गए वो बात यहाँ व्यवहार में भी देखने को मिली..क्या ऑटो वाले..पैदल रहगुजर..ठेले वाले..सभी हमारे सुर में सुर मिला रहे थे..इस दौरान मीडिया कि अच्छी खासी कवरेज भी हो रही थी. हम जोश पूरे जोश में नारा लगा रहे थे मानो हमारी आवाज सीधे हिन्दुस्तान कि हुक्मरानों के कानो में जा रही हो..काफी हद तक हम गलत नही थे क्यू कि हमे मीडिया कवर कर रही थी..धीरे धीरे जोश थोडा धीमा हुआ तो मैंने भीड़ से जरा हट कर भीड़ को समझने कि कोशिश करने लगा..क्या वास्तव में जितने लोग इस रैली में शामिल हैं वो सीरियस हैं या फिर ऐवें ही...कई सवाल मेरी मन में उठे..जिनमे से एक जवाब मुझे तुरंत ही मिल गया... “जिस ओर जवानी चलती है उस ओर जमाना चलता है”...कुछ लोग इसलिए शामिल हुए थे क्यू कि उनके दोस्त या फिर सीनियर ने कहा कि चल यार चलते हैं..
खैर भ्रस्ताचार के खिलाफ और आना के समर्थन में आयोजित इस रैली में तमाम लोग शामिल हुए..रैली में शामिल होने का उनका व्यक्तिगत कारण चाहे जो रहा हो हो..वो चाहे जिस भी तरह से शामिल हुए हों..लेकिन उनकी आवाज़ उनके इरादे बुलंद थे..और ये आवाज देश के पचास करोड से ज्यादा और एक ही बिरादरी के लोगों (युवा) की है..जिसे गाहे बगाहे सरकार को सुनना ही पड़ेगा.मै मनीष और दीपू तीनो शामिल थे रैली में..रैली करीब १२ बजे विश्वविद्यालय परिसर से निकली और बोर्ड ऑफिस चौराहे होते हुए २ बजे वापस कैम्पस आ गए..आज क्लास चलनी नही थी सो हम चाय के लिए बाहर आये..बतकूचन का दौर चल रहा था..ऐसे में मनीष ने कहा यार हमारे इस मुहीम का सरकार पर कोई असर हो या न हो लेकिन मुझ पर तो हो गया...मेरा सर दर्द कर रहा था ....ठीक हो गया..मनीष का सर दर्द तो ठीक हो गया लेकिन देखते हैं समाज का सर दर्द कब ठीक होता है?और आन्ना हजारे समेत तमाम हिंदुस्तानिओं को एक सशक्त लोकपाल कब मिलता है...उम्मीद है जल्द ही...अन्ना आप को शत शत नमन आपकी वजह से आज पूरा देश तिरंगे में रंग गया है और सारे भेद भाव भुला एक साथ खड़ा है...
उस खास पल की कुछ तस्वीरें आपके लिए पेश कर रहा हूँ...
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